चर्चा में

कुछ अलग ! ईष्या-नफ़रत स्वाहा, बीड़ी- सिगरेट स्वाहा, सभी बीमारियाँ स्वाहा, सभी दु:ख अशान्ति स्वाहा

@ आनन्द कुमार…

मऊ। धरती पर तरह-तरह के यज्ञ, हवन, पूजा, साधना आदि देखा होगा। लेकिन मैं आज आपको एक ऐसे हवन के बारे में बताने जा रहा हूं जो बिल्कुल अलग है। वैसे तो यज्ञ-हवन विश्व शांति व मानव कल्याण के साथ साथ व्यक्ति अपने लिए करता है। लेकिन मानव कल्याण व देश में एकता व संप्रभुता बनी रहे के साथ आज ब्रह्माकुमारीज संस्था ने मऊ नगर के जीवन राम छात्रावास में नव दिवसीय अलविदा तनाव कार्यक्रम के दौरान यह यज्ञ किया गया, जो अपने आप में अनुपम और अनोखा था।

इस यज्ञ में ब्रह्माकुमारी ने वाराणसी से आए ब्राह्मणों की मौजूदगी में इस यज्ञ को सम्पन्न कराकर इसमें आहूति दी । ब्रह्माकुमारी सीएस पूनम ने यज्ञ कार्यक्रम सम्पन्न कराने से पहले, मौजूद जनता से अपने अंदर की कम से कम या उससे ज्यादा बुराइयों को त्यागने को कहा। उसके बाद बकायदा मंत्रोच्चार के द्वारा घंटा-घड़ियाल शंखनाद के साथ जहां डाल डाल पर सोने की चिड़िया करती है बसेरा वह भारत देश है मेरा के गीत और संगीत पर भारत मां बनी बेटी के हाथों में तिरंगा, और ब्रह्माकुमारी की बहनों के हाथ में ब्रह्माकुमारी का ध्वज लेकर जमकर थिरके व मौजूद भीड़ भी खुब झूमी‌।
उसके बाद वाराणसी के विद्वानों ने यज्ञ संपन्न कराया। जिसमें विद्वानों ने मंत्रोच्चार के साथ यज्ञ शाला में पम्पलेट लिखे पर्चे जिसपर लिखा था, ईष्या-नफ़रत स्वाहा, डिप्रेशन स्वाहा, शुगर स्वाहा, समस्त समस्या स्वाहा, शराब-गुटका स्वाहा, बीड़ी- सिगरेट स्वाहा, सभी बीमारियाँ स्वाहा, सभी दुख अशान्ति स्वाहा, सभी कमी कमज़ोरियाँ आदि स्वाहा किया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *