चर्चा में

मूक वधिर बच्चे ने पकड़ा एसपी का हाथ, ले गया कपड़े की दुकान, खरीदवाया अपने लिए नया परिधान

(आनन्द कुमार)
रायबरेली। भावना और संवेदना जिस इन्सान के अंदर हो, तो वह भगवान का रूप होता है। मनुष्य अगर अपने मन और दिल में भावना व संवेदना को समेट कर रखा है तो उसकी तारीफ होना लाजिमी है। खबर तो पुरानी है लेकिन अगर सामने ही पहली बार आयी है तो यह नई है।
हम बात कर रहे हैं कुछ दिनों पूर्व मऊ में एसपी रहे और वर्तमान में रायबरेली के पुलिस कप्तान शिव हरि मीणा की।
बतौर एसपी रायबरेली शिव हरि मीणा जनपद मुख्यालय पर यूपी पुलिस का कार्य अपने मातहतों के साथ दीपावली त्योहार के मद्देनज़र निभा रहे थे। इसी दौरान देखने को मिला की जब त्योहारों के मद्देनजर सुरक्षा व्यवस्था को लेकर चेकिंग में निकले पुलिस कप्तान के साथ सिटी मजिस्ट्रेट, अपर पुलिस अधीक्षक, सीओ सिटी सुपर मार्केट में चेकिंग कर रहे थे तभी एक मुकबधीर लड़का शिव हरि मीणा के पास आया और पुलिस अधीक्षक का हाथ पूरे अधिकार के साथ पकड़ लिया। जिसपर पुलिस के लोग उसे हटाने को आगे बढ़े लेकिन पुलिस अधीक्षक द्वारा उन्हें रोक दिया गया और वो लड़के ने पुलिस कप्तान को सीधे एक रेडिमेड कपड़े की दुकान पर ले गया। जहां उसने दुकानदार से अपने सांकेतिक भाषा में कपड़ा दिखाने को कहा। बच्चे की बात के बाद एसपी ने दुकानदार से उसके लिए कपड़े निकलने को कहा लेकिन दुकानदार द्वारा निकाले गए कपड़े उसे पसंद नही आया और उसने अपनो हाथो से अपने पसन्द के कपड़े निकलवाये। कप्तान शिव हरि मीणा ने उसके पसन्द के कपड़े का भुगतान किया, उस क्षण बच्चे चेहरे की मुस्कान देखने लायक थी। एसपी के इस कार्य से लोगों ने जहां मानवता की सीख ली वहीं उस बच्चे के चेहरे पर मुस्कान बिखेर कर शिव हरि मीणा अंदर ही अंदर मुस्कुया रहे थे। इस कार्य ने मित्र पुलिस की अवधारणा को साकार किया, लोगों ने इसको देखकर मित्र पुलिस व कप्तान शिव हरि मीणा की भूरी भूरी प्रशंसा करने लगे। और खबर पुरानी होने के बाद प्रशंशा का क्रम जारी है। ऐसे महान अफसर को “अपना-मऊ” का सलाम। बस दिल यही कहता है काश सभी लोग ऐसे होते।

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